इटारसी। केसला विकासखंड के ग्राम पंचायत कोहदा पंचायत के तत्कालीन सरपंच किशनलाल और सचिव कमल सिंह अपने कार्यकाल में खुद को नियम-कानूनों से ऊपर समझने लगे थे। अपनी कुर्सी और अधिकारों का इन दोनों ने जमकर दुरूपयोग किया था। ग्राम पंचायत कोहदा में 5,83,039 रुपए की राशि का गबन करके दोनों जिम्मेदार सार्वजनिक जीवन मे बेख़ौफ़ घूमते रहे मगर मामले में शिकायत और फिर उसकी जांच के बाद वे कानून के शिकंजे में कसा गए। इन दोनों को कोर्ट ने 5-5 साल की सजा और 5-5 हजार रुपये के जुर्माने से दण्डित किया। गबन के मामले में न्यायालय तृतीय अपर जिला सत्र न्यायाधीश सुशीला वर्मा ने दोनों आरोपियों को दोषी पाते हुए 5-5 वर्ष का कारवास और 5-5 हजार रुपये के दंड से दंडित किया। एजीपी भूरे सिंह भदौरिया ने बताया कि 1 जनवरी 2012 से 19 सितंबर 2012 के बीच कोहदा पंचायत में सरपंच किशनलाल और सचिव कमल सिंह ने पंचायत के कार्य कराने हेतु शासन से प्राप्त राशि 5,83,039 का कार्य न करते हुए उसका गबन कर दिया था। मामले में शिकायत के बाद जिला पंचायत ने इसकी जांच कराई थी। जांच में शासकीय राशि के गबन की पुष्टि होने के बाद दोनों के खिलाफ केसला थाने में शासन द्वारा धारा 409 आईपीसी का मामला दर्ज कराया गया था। अभियोजन ने मामले को सिद्ध कर दिया जिस पर सुनवाई करते हुए दोनों आरोपियों को दंडित किया गया। शासन की ओर से पैरवी एजीपी भूरे सिंह भदौरिया और राजीव शुक्ला ने की।