नर्मदापुरम/ सोनतलाई एवं बिछुआ सहकारी समिति में 2 करोड़ 33 लाख रुपये की आर्थिक अनियमितता का प्रकरण प्रकाश में आने के बाद से विभागीय जांच चल रही थी। इस मामले में जिला सहकारी बैंक ने समिति प्रबंधक, तत्कालीन प्रबंधक और तत्कालीन लिपिक को निलंबित करने के साथ ही तीनों के खिलाफ पुलिस को एफआईआर दर्ज कराने के निर्देश शाखा प्रबंधक को दिए हैं
इस अवधि में हुआ था खेल
दोनों समितियों में आर्थिक अनियमितताएं वर्ष 2021-22 से 2023-24 के बीच हुईं थी। जब विपणन संघ से फर्जी आरो एवं डीडी प्रस्तुत कर खाद प्राप्त की गई थी। शिकायत
की
गंभीरता
को देखते हुए कलेक्टर एवं अध्यक्ष जिला सहकारी बैंक, नर्मदापुरम
सोनिया मीना
ने
महाप्रबंधक
जिला
सहकारी बैंक को त्रिस्तरीय जांच समिति गठित करने के निर्देश दिए
थे। समिति ने जब अपनी जांच शुरू की तो इस गड़बड़ झाले की पोल खुलने लगी। अंत में जांच में इस बात का खुलासा हो गया कि बड़ी रकम की आर्थिक अनियमितता की गई है।
इनको माना समिति ने दोषी
त्रिस्तरीय जांच समिति द्वारा जांच करने पर पाया गया कि समिति प्रबंधक राजीव दीवान, तत्कालीन प्रबंधक गौरीशंकर वर्मा तथा तत्कालिक लिपिक विश्वास शर्मा के द्वारा समिति सोनतलाई एवं बिछुआ में बिना सी.बी.एस. सिस्टम के गलत फर्जी एस.वाय.एस. नम्बर के 29 आरो/ डीडी विपणन संघ के पोर्टल से प्राप्त जानकारी अनुसार प्रस्तुत
कर खाद प्राप्त किए जाने में आर्थिक
अनियमित
ता की गई है। साथ ही संस्था सोनतालाई एवं बिछुआ के रासायनिक खाद कैश क्रेडिट लिमिट खातों से अन्य संस्थाओं एवं शाखा पुरानी इटारसी के अमानतदारों के खातों में कूट रचना कर संस्था/बैंक के साथ
धोखाधड़ी
की गई है।
जल्द दर्ज होगी एफआईआर
जांच समिति की रिपोर्ट में दोनों समिति में किये
गए आर्थिक घोटाले के
लिये
उक्त
तीनों
व्यक्ति
यों को प्रथम दृष्टया दोषी
माना गया। त्रिस्तरीय जांच समिति की रिपोर्ट के आधार पर महाप्रबंधक जिला सहकारी बैंक ने तत्काल प्रभाव से समिति प्रबंधक राजीव दीवान, शाखा प्रबंध गौरीशंकर वर्मा और लिपिक विश्वास शर्मा को निलंबित कर दिया है। इसके साथ ही संबंधित पुलिस थाने में एफ.आई.आर. दर्ज कराने के निर्देश शाखा प्रबंधक इटारसी को दिए गए हैं।